आचार्य सत्यम कृष्ण अवस्थी जी महाराज एक प्रतिष्ठित धार्मिक और आध्यात्मिक गुरु हैं, जो वर्तमान में श्री धाम वृंदावन में निवास कर रहे हैं। उनकी गहन भक्ति, धार्मिक शिक्षाओं और कथा वाचन के माध्यम से, वे लाखों लोगों के जीवन में आध्यात्मिकता और धर्म का प्रकाश फैला रहे हैं। आइए उनके जीवन, शिक्षा, और समाज में उनके योगदान पर एक नजर डालते हैं।
पंडित सत्यम कृष्ण अवस्थी जी महाराज का जन्म इटावा, उत्तर प्रदेश में हुआ था। उनके परिवार में धार्मिकता और भक्ति का वातावरण सदैव से रहा है। बचपन से ही, उन्होंने अपने बाबा श्री देबी चरन अवस्थी को देवी की पूजा करते हुए देखा और वहीं से भक्ति की ओर अपने कदम बढ़ाए। छोटी आयु से ही हनुमान मंदिर में आरती और सेवा में संलग्न हो गए थे, जिसने उनके आध्यात्मिक जीवन की नींव रखी।
साल 2017 में, पंडित सत्यम कृष्ण अवस्थी जी महाराज ने प्रभु की कृपा से वृंदावन की पवित्र भूमि की ओर यात्रा की। वृंदावन में आकर उन्होंने अपने जीवन को पूरी तरह से अध्यात्म और भक्ति में समर्पित कर दिया। यहाँ उन्होंने वेद, पुराण और अन्य प्राचीन शास्त्रों का गहन अध्ययन किया। वृंदावन की पवित्रता और धार्मिकता ने उन्हें और भी गहरी आध्यात्मिक दृष्टि प्रदान की, जिससे उनके जीवन का मुख्य उद्देश्य समाज में धर्म और आध्यात्म का प्रचार-प्रसार करना बना।
2017 से, पंडित सत्यम कृष्ण अवस्थी जी महाराज ने कथा वाचन का कार्य शुरू किया। उनकी कथाएँ वेदों, पुराणों और धार्मिक ग्रंथों के गूढ़ ज्ञान को सरल और प्रभावी भाषा में प्रस्तुत करती हैं, ताकि सामान्य जन भी इसे आसानी से समझ सकें।
उनकी श्रीमद्भागवत, रामायण और अन्य धार्मिक ग्रंथों की कथाओं में भगवान की भक्ति, वैदिक ज्ञान और धार्मिक इतिहास का समावेश होता है। वे समाज में भक्ति भावना और धर्म के प्रति जागरूकता फैलाने का कार्य कर रहे हैं।
पंडित सत्यम कृष्ण अवस्थी जी महाराज का परिवार उनके धार्मिक और आध्यात्मिक जीवन का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। उनके पिता का नाम श्री अखिलेश अवस्थी और माता का नाम श्रीमती पुष्पा देवी है। उनका पैत्रिक निवास बकेवर इटावा के सराय मिटठे गाँव में है, और वर्तमान में वे वृंदावन की संत कॉलोनी परिक्रमा मार्ग में निवास कर रहे हैं।
उन्होंने संस्कृत व्याकरण में एमए की शिक्षा प्राप्त की है और उनके गुरु परम पूज्य आचार्य इंद्रेश मिश्रा जी महाराज हैं। गुरु की कृपा से, उन्होंने धर्म, साधना, और सेवा के महत्व को गहराई से समझा और उसी मार्ग पर चलते हुए अपने जीवन को प्रभु की सेवा में समर्पित किया है।
उन्होंने संस्कृत व्याकरण में एमए की शिक्षा प्राप्त की है और उनके गुरु परम पूज्य आचार्य इंद्रेश मिश्रा जी महाराज हैं। गुरु की कृपा से, उन्होंने धर्म, साधना, और सेवा के महत्व को गहराई से समझा और उसी मार्ग पर चलते हुए अपने जीवन को प्रभु की सेवा में समर्पित किया है।
पंडित सत्यम कृष्ण अवस्थी जी महाराज ने अपने जीवन को पूरी तरह से धर्म प्रचार और समाज सेवा के लिए समर्पित कर दिया है। वे निरंतर वेदों और पुराणों का अध्ययन करते हैं और अपने ज्ञान का प्रकाश समाज में फैलाते हैं। उनकी कथाएँ और प्रवचन न केवल धार्मिक जागरूकता फैलाते हैं, बल्कि समाज में आध्यात्मिकता का भी संचार करते हैं।
उनका उद्देश्य समाज के हर वर्ग के लोगों को धर्म और आध्यात्मिकता से जोड़ना है, और वे इस कार्य में सतत रूप से लगे हुए हैं। उन्होंने "श्री गजानन चैरिटेबल ट्रस्ट" के माध्यम से भी समाज सेवा का कार्य किया है, जिससे उन्होंने अनेक लोगों की मदद की है।
यदि आप पंडित सत्यम कृष्ण अवस्थी जी महाराज की प्रवचन या कथा का अनुभव करना चाहते हैं, तो आप श्री धाम वृंदावन या अन्य स्थानों पर होने वाले धार्मिक आयोजनों में भाग ले सकते हैं। उनकी कथाएँ आपके जीवन में एक नया आध्यात्मिक दृष्टिकोण लाने में सक्षम हैं और भक्ति भावना को जागृत करती हैं।
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